मंगलवार, 27 मार्च 2018

तेरे याद में ....................

                                                 
                                                    तेरे याद में कविता
कितने ग़ज़ल लिखेंगे।
बातें सियाही से हम 
कागजो पे जब लिखेंगे। 

लायक कभी न होता 
लायक बनाके देखो, 
गुलामी भी दाद देगी 
वफ़ा इतना हम करेंगे।

पूछते हैं कौन है ये 
कातिल अगर न होता 
बतला तुझे भी देता 
अक्षय(सब ) फना कहेंगे।



सोमवार, 26 मार्च 2018

दीद की हर..........

दीद की हर बात को मैं दाद दे रहा हूँ,
आपकी यादों  को थोड़ा साथ दे रहा हूँ।  
दुश्मन है अगर वो नफरत ही सही, 
पल जो गुजरें  हैं उनको खाद दे रहा हूँ।

वो भी नशीहत दिए..............

वो भी नशीहत  दिए थे मर जाते तो अच्छा होता ,
मिला दिए खाख में मुझको आज पहाड़ हो गया हूँ। 

रविवार, 25 मार्च 2018

जिन्दा-दिली से ........

बातें जीने -मरने का करते  हैं  बहुत,
जिन्दा-दिली से ज़िन्दगी जीने वाले।

मुआफ  र देते हैं सारे गुनाह मेरे 
उन्हें जल्दी है खुदा मिलने वाले 


बस एक बार

बस एक बार मुझको,मोहलत तो दीजिये, ऐसे कभी बयां न हो, हसरत तो कीजिये। ऐसे कभी बयां न हो, सोहरत तो दीजिये। ****** कब तक कलम उठा के लिखत...

HMH (hear mind and heart)